व्यंग्य-कवि एवं ग़ज़लकार
पूरा नहीं देख पाए, रूठ गई जूतियाँ ।बहुत अच्छी प्रस्तुति । वाह !
वाह वाह क्या कहना।
वाह आज तो पढ़ना ही नहीं पड़ा, सुन कर ही काम चल गया :)
वाह , वाह , वाह , योगेन्द्र जी । बढ़िया प्रस्तुति ।
very well presentesion moudgill ji very well
बहुत सुन्दर !ज़बरदस्त !
वाह..आनन्द आया जूता पुराण सुन कर.
वाकई गजल पढ कर बहुत मजा आया!...बधाई एवं शुभकामना के लिए धन्यवाद!
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8 comments:
पूरा नहीं देख पाए, रूठ गई जूतियाँ ।
बहुत अच्छी प्रस्तुति । वाह !
वाह वाह क्या कहना।
वाह आज तो पढ़ना ही नहीं पड़ा, सुन कर ही काम चल गया :)
वाह , वाह , वाह , योगेन्द्र जी । बढ़िया प्रस्तुति ।
very well presentesion moudgill ji very well
बहुत सुन्दर !
ज़बरदस्त !
वाह..आनन्द आया जूता पुराण सुन कर.
वाकई गजल पढ कर बहुत मजा आया!...बधाई एवं शुभकामना के लिए धन्यवाद!
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