१
ईंट यों कहने लगी सीमेन्ट से
क्या हुआ
तुझको कि तू ग़ारा हुआ
सीमेन्ट ने उत्तर दिया
ए डार्लिंग
मैं हू ठेकेदार का मारा हुआ
२
प्रेम से बोलो
वोटें किसकी
जो बांटेगा
मुर्गा-व्हिस्की
३
मिल मालिक
अंग्रेजी का
मजदूर देसी का मजा लेते हैं
दोनों यथासंभव
राजस्व में हिस्सा देते हैं
४
पत्नी बोली
सुनो जी
आज अपनी गैस खत्म हो गयी
इसलिये खाना हीटर पर पकाया है
सिर बुरी तरह चकराया है
पति बोला भाग्यवान
मैं तो पहले ही समझ गया था
जब रोटियों का स्वाद था
और दिनों से हटके
सब्जी में डुबोते ही
लग रहे थे
दो सौ तीस वाट के झटके
--योगेन्द्र मौदगिल
10 comments:
प्रेम से बोलो
वोटें किसकी
जो बांटेगा
मुर्गा-व्हिस्की
बहुत ही अच्छी क्षणिकाएं हे, ओर गहरी सोच लिये .धन्यवाद
ईंट यों कहने लगी सीमेन्ट से
क्या हुआ
तुझको कि तू ग़ारा हुआ
सीमेन्ट ने उत्तर दिया
ए डार्लिंग
मैं हू ठेकेदार का मारा हुआ
ye vali sabse badhiya lagi sar ji....
"मिल मालिक
अंग्रेजी का
मजदूर देसी का मजा लेते हैं
दोनों यथासंभव
राजस्व में हिस्सा देते हैं"
... अति सुंदर
जब रोटियों का स्वाद था
और दिनों से हटके
सब्जी में डुबोते ही
लग रहे थे
दो सौ तीस वाट के झटके
भई तगडी चोट कर रे हो !
बहुत सुथरा काम कर रे हो !
कभी तो समझ आवैगी !
शुभकामनाएं !
वाह! बहुत उम्दा.
jay bolo murga whisky sateek likha aapne.badhai
आप का अपना एक क्लास है। बहुत बढ़िया लिखा है।
सब्जी में डुबोते ही
लग रहे थे
दो सौ तीस वाट के झटके
बहुत खूब।
वोट मुर्गा व्हिस्की क्या जोड़ा है।
पत्नी बोली
सुनो जी
आज अपनी गैस खत्म हो गयी
इसलिये खाना हीटर पर पकाया है
सिर बुरी तरह चकराया है
पति बोला भाग्यवान
मैं तो पहले ही समझ गया था
जब रोटियों का स्वाद था
और दिनों से हटके
सब्जी में डुबोते ही
लग रहे थे
दो सौ तीस वाट के झटके
" wah wah bhut sunder , hans hans kr lotpot ho gyen hain kmal"
Regards
aap sabhi ka dhanyawaad
पत्नी बोली
सुनो जी
आज अपनी गैस खत्म हो गयी
इसलिये खाना हीटर पर पकाया है
सिर बुरी तरह चकराया है
पति बोला भाग्यवान
मैं तो पहले ही समझ गया था
जब रोटियों का स्वाद था
और दिनों से हटके
सब्जी में डुबोते ही
लग रहे थे
दो सौ तीस वाट के झटके
--योगेन्द्र मौदगिल
बहुत सुन्दर लिखा है। बधाई
Post a Comment